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विरासत-तवारीख में छेड़छाड़ छोड़ो


विरासत-तवारीख में छेड़छाड़ छोड़ो


भोपाल शहर में क़ायम की जाए नवाबों की यादगार*
भोपाल. जमीअत उलमा मध्यप्रदेश के प्रेस सचिव हाजी मोहम्मद इमरान ने भोपाल नगर निगम और मध्यप्रदेश सरकार से मांग की है कि आए दिन समाचार पत्रों में भोपाल के इतिहास से छेड़ छाड़ के मामले सामने आ रहे हैं और रानी कमला पति और नवाब दोस्त मोहम्मद खान के भाई बहन के रिश्तों को तार तार किआ जा रहा है जिसकी अहम वजह इन लोगो तक असल इतिहास का न पोहचना है और नही इन्होंने भोपाल के इतिहास को पड़ा है या जान बूझ कर इनके अंदर भृमक बातें फैलाने का शौक़ चढ़ गया है. 
अपनी सियासी ख्वाहिशात को पूरा करने के शहर-ए-भोपाल के इतिहास से लगातार छेड़छाड़ की जा रही है। नगर निगम शहर का नाम बदलने से लेकर यहां के शहीदों के नाम के द्वार तक का नाम बदलने के कुत्सित प्रयास कर चुके हैं। अब दूसरी बार एक समाचार पत्र दुवारा रानी कमलापति, और भोपाल के बानी नवाब दोस्त मोहम्मद खान को लेकर भी भ्रामक और झूठी बातें फैलाई जा रही है। और बहन भाई के रिश्ते को दूसरा ही रूप दिया जा रहा है 
 इस गन्दी सियासत में शहर के एक अखबार के लेखक ने भी अपनी अखबारी भूमिका से हटकर काम किया है। रविवार को प्रकाशित एक समाचार में रानी कमलापति के इतिहास को लेकर फर्जी और भ्रामक खबर लोगों को परोसी गई है। और समाज की भावनाओ से खिलवाड़ किया है जिस पर विरोध दर्ज कराते हुए जमीअत उलमा मध्यप्रदेश हाजी मोहम्मद इमरान ने मध्यप्रदेश सरकार और नगर निगम भोपाल से भोपाल की तेहज़ीब और इतिहास को बचाने की मांग की हाजी इमरान ने कहा कि भोपाल के इतिहास को लेकर भरम फैलाया जा रहा है इस पर तुरंत नगर निगम को भोपाल के नवाबी दौर के इतिहास को आम करना चाहिए हाजी इमरान ने मांग की के सरकारी स्तर पर भोपाल शहर में सबकी याद में कुछ न कुछ है पर भोपाल के बसाने और बनाने वालों की याद में कुछ नही जिससे आने वाली नस्ले उनसे परिचित रहे और कल्पनिक बातें लिखने वाले भी असल इतिहास को जान सके हाजी इमरान ने कहा कि भोपाल में कई बड़े लोगो के मुजसमे लगें है यादे मौजूद हैं कई और चीज़े भी हैं पर नवाब दोस्त मोहम्मद खान से लेकर किसी भी नवाब और बेगमों की याद में सिवाए उनके डूबते मगबरों के अलावा कुछ नही नगर निगम दुवारा भोपाल में जगह चिन्हित कर भोपाल नवाब दोस्त मोहम्मद खान, नवाब हमीद उल्लाह खान और अन्य की याद में कुछ पहल करना चाहिए और किसी चौराहे पर इनकी यादगार भी लगाकर जीवन परिचय उकेरा जाए जिसके लिए बोहोत चोराहे खाली हैं जिन पर नवाबो के इतिहास को उकेरा जा सकता है जिसकी पहल तुरंत की जानी चाहिए ताकि आने वाली नस्ले भोपाल के इतिहास को जान सके और मानघड़क कहानियों में न पड़े भोपाल हमेशा से गंगा जमनी तहज़ीब का मरकज़ रहा है जिसको उजागर करना समय की बड़ी जरूरत है दूसरी और हाजी इमरान ने नगर निगम वक़्फ़ बोर्ड पुरातत्व विभाग से मांग की है कि भोपाल के नवाबों और बेगमों के ऐतिहासिक मगबरों को भी दुरस्त कर इनका जीवन परिचय मगबरों पर भी लगया जाए वही दूसरी और हाजी इमरान ने नगर निगम से भोपाल के ऐतिहासिक इक़बाल मैदान को भी दुरस्त करने की मांग की है


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